मई, 2018 की पोस्ट दिखाई जा रही हैंसभी दिखाएं

उत्कर्ष दोहावली २५/५/२०१८

जनक सुता माँ जानकी,अरु दशरत सुत राम । श्री   चरणों   मे  आपके,मेरा नमन प्रणाम ।। - उत्कर्ष अज्ञानी    ठहरा    प्रभो,नहीं तनिक भी ज्ञान । क्षमा  करो   मम  भूल हे,पवन पुत्र हनुमान ।। - उत्कर्ष ज्ञान   दायनी  भगवती,रखो कलम का मान । तुरत  संभालो  काज म… Read more »

देशहित गीत [ Desh bhakti geet ]

देशहित गीत [ Desh Bhakti Geet ] पाकिस्तान  करे  मनमानी, उसे   जवाब   जरूरी है  मूक  बने  बैठे   क्यों मोदी,आखिर क्या मजबूरी है  छप्पन इंच का सीना फिर, क्यों ये साहस खोता है  मौन  साधना   देख  तुम्हारी, वीर सिपाही रोता है  नैन  अगारी   देश   द्रोह … Read more »

शूर [veer] a solder

छंद : मत्तगयंद सवैया सूर  चलौ    चढ़  सूरन ऊपर, फूलन    हार   लपेट    तिरंगा आँगन  छोड़  बसौ  हद   ऊपर, रोक लिये अरि के सब दंगा जान  लुटा  अपनी  धरती  पर, एकहि  रंग  करौ    पँचरंगा संग भरे कर को  जग आमत,आमत रिक्त लिये तन नंगा - नवीन श्रोत्रिय उत्कर्ष छंद … Read more »

मुक्तक :दिल से...

नजारों में  कहाँ  अब  हम,नहीं  पहचान  पाओगे । मगर  जिंदा  अभी हम हैं,कभी  तो जान जाओगे । भुला सकते नहीं हमको,भगत हम श्याम के ठहरे । चले   आयेंगे   यादों   में,भजन जब आप गाओगे ।। नवीन श्रोत्रिय उत्कर्ष श्रोत्रिय निवास बयाना +91 9549899145 Read more »

मदिरा से मत हाथ लगाना [ Don't Use Wine ]

!! मदिरा से मत हाथ लगाना !! मदिरा  ते  मत  हाथ लगाना,तुम्हे  जान   यदि प्यारी हो हाथ छुये  ते  खण्डित जीवन,सभी  जगह फिर ख्वारी हो मदिरा ते मत हाथ लगाना......... नष्ट करे तन, धन, अरु जीवन,नष्ट  जगत व्यवहार करे मदिरापान  करें  उनकी   इस,जीवन   मे   नह… Read more »

सरस्वती वंदना [saraswati vandna]

सरस्वती वंदना [saraswati vandna] माँ सरस्वती सामूहिक वंदना ----------------------------------- नमस्तुभ्यं  माँ  आदिशक्ति,नमस्तुभ्यं वागेश्वरी, नमस्तुभ्यं वैकुण्ठ वासिनी,नमस्तुभ्यं माहेश्वरी, जय   वाचा  जय ईश्वरी, जय महाश्वेता मात नमन     तुम्हे  वागे… Read more »